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5 मिनट करने वाला ये योगासन, कई बीमारियों को करेगा कंट्रोल

हर साल 21 जून को पूरी दुनिया में अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस बड़े ही उत्साह और जागरूकता के साथ मनाया जाता है. योग अब सिर्फ भारत तक सीमित नहीं रहा, बल्कि ग्लोबल फिटनेस और वेलनेस ट्रेंड का हिस्सा बन चुका है. इस खास दिन पर लोग अलग-अलग योग आसनों के जरिए खुद को शारीरिक और मानसिक रूप से संतुलित रखने का प्रयास करते हैं. ऐसे में एक योग अभ्यास ऐसा भी है जो सिर्फ 5 मिनट में कई बीमारियों को कंट्रोल करने की ताकत रखता है और वो है सूर्य नमस्कार.

जी हां, योग एक्सपर्ट का मानना है कि अगर किसी के पास दिनभर में योग के लिए बहुत समय नहीं है, तो केवल 5-10 मिनट का सूर्य नमस्कार ही काफी है. यह एक ऐसा पूर्ण अभ्यास है जिसमें शरीर की लगभग हर मांसपेशी और अंग एक्टिव होता है. सूर्य नमस्कार न केवल शरीर को लचीला और मजबूत बनाता है, बल्कि यह पाचन, हार्मोन बैलेंस, वजन कंट्रोल से लेकर दिल की सेहत तक को दुरुस्त रखने में मदद करता है. चलिए आज इस आर्टिकल में जानते हैं कि सूर्य नमस्कार के बारे में पूरी जानकारी.

सूर्य नमस्कार क्या है?

सूर्य नमस्कार, यानी Sun Salutation, योग की एक ऐसी सीरीद है जिसमें 12 योग मुद्राएं लगातार जुड़ी होती हैं. यह अभ्यास शरीर को एनर्जेटिक बनाने के साथ-साथ पाचन तंत्र, हार्मोन बैलेंस, ब्लड सर्कुलेशन और मानसिक शांति के लिए बेहद फायदेमंद होता है. इसे सुबह के समय सूर्य को नमस्कार करते हुए करना सबसे असरदार माना जाता है.

क्या कहती हैं एक्सपर्ट?

भारत योग की अध्यक्ष और योग एक्सपर्ट आचार्य प्रतिष्ठा जी बताती हैं, सूर्य नमस्कार 12 स्टेप में किया जाने वाला अभ्यास है, जो हमारे पूरी शरीर को ऊर्जा प्रदान करता है.डिप्रेशन के पेशेंट के लिए ये बहुत फायदेमंद है. वेट लॉस के लिए बहुत फायदेमंद है और चेहरे पर ग्लो लाने के लिए भी ये अभ्यास कारगार है. इसके अलावा हेयर फॉल को कम करने में भी ये असरदार है. लेकिन ये एक निरापद क्रिया नहीं है, यानी सब लोग इसका अभ्यास नहीं कर सकते हैं. इसका अभ्यास हमेशा किसी एक्सपर्ट की मदद से ही करना चाहिए.

इसमें कुछ स्टेप ऐसे हैं जो पेशेंट के अनुरुप मोडिफाइ करने पड़ते हैं. जैसे घुठनों के दर्द वालों के लिए अलग, कमर दर्द वालों के अलग. जो लोग अभ्यास नहीं कर सकते हैं चेयर सूर्य नमस्कार भी कर सकते हैं. यानी आप अपनी परेशानी के मुताबिक अलग-अलग स्टेप को फॉलो कर सकते हैं. हालांकि, आज कल लोग 100 सूर्य नमस्कार, 50 सूर्य नमस्कार जैसे चैलेंज लेते हैं वो करना सही नहीं है. 12 से ज्यादा बार सूर्य नमस्कार को रिपीट नहीं करना चाहिए.

सूर्य नमस्कार के 12 स्टेप्स कौन से हैं?

1. प्रणामासन नमस्कार मुद्रा में खड़े हों

2.हस्त उत्तानासन हाथ ऊपर ले जाकर पीछे झुकें

3.पदहस्तासन झुककर पैरों को छुएं

4.अश्व संचालनासन एक पैर पीछे ले जाएं, दूसरा मोड़े

5.दंडासन दोनों पैरों को पीछे ले जाकर पुश-अप जैसी स्थिति

6.अष्टांग नमस्कार जमीन पर लेटें और पैर, घुटने, हथेलियां, सीना और ठोडी जमीन को छूते रहें.

7.भुजंगासन छाती को ऊपर उठाकर कोबरा पोज

8.पर्वतासन शरीर को त्रिकोण आकार में लाएं

9.अश्व संचालनासन अब दूसरा पैर आगे लाएं

10.पदहस्तासन फिर से झुकें और पैरों को छुएं

11.हस्त उत्तानासन ऊपर की ओर खिंचाव

12.प्रणामासन नमस्कार मुद्रा में लौटें

सूर्य नमस्कार से मिलते हैं ये फायदे

सूर्य नमस्कार को नियमित रूप से करने से शरीर की फ्लेक्सिबिलिटी बढ़ती है, मांसपेशियां मजबूत होती हैं और ब्लड सर्कुलेशन बेहतर होता है. यह सिर्फ एक व्यायाम नहीं बल्कि एक डिटॉक्स प्रोसेट भी है जो शरीर से टॉक्सिंस को बाहर निकालने में मदद करती है. सूर्य नमस्कार पाचन तंत्र को एक्टिव करता है, जिससे कब्ज, गैस और एसिडिटी जैसी समस्याएं कंट्रोल में रहती हैं.

साथ ही यह मेटाबॉलिज्म को तेज करता है, जिससे वजन घटाने में भी सहायता मिलती है. इसके अलावा ये कई बीमारियों को भी कंट्रोल करता है, जिसमें थायरॉइड, महिलाओं में पीरियड्स की अनियमितता, पीसीओडी, पीसीओएस जैसी समस्याओं शामिल है. वहीं, डायबिटीज, ब्लड प्रेशर, ऑर्थराइटिस और एंग्जायटी जैसी बीमारियों को भी सूर्य नमस्कार से कंट्रोस किया जा सकता है.

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