एक्सक्लूसिव खबरेंहरियाणा

परमजीत जागलान ने संयुक्त राष्ट्र मुख्यालय में युवा यूएन नेता के रूप में किया नेतृत्व

चंड़ीगढ़  : भारतीय युवाओं के प्रेरक प्रतिनिधि के रूप में परमजीत जागलान ने संयुक्त राष्ट्र मुख्यालय, जिनेवा में एक युवा यूएन नेता के रूप में अपनी नेतृत्व क्षमता का परिचय दिया। दुनिया भर से 350 से अधिक छात्रों के बीच चयन प्रक्रिया को पार करते हुए परमजीत को यह विशेष सम्मान प्राप्त हुआ। वे विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के विशेष युवा प्रतिनिधिमंडल का हिस्सा बने, जहाँ उन्होंने भारत और विश्व स्तर पर युवा नेतृत्व की सशक्त भूमिका का प्रदर्शन किया। यह मंच युवाओं को वैश्विक स्वास्थ्य और सतत विकास में अपने विचारों को साझा करने और महत्वपूर्ण योगदान देने का अवसर प्रदान करता है।

कार्यक्रम में पीएम मोदी समेत कई देशों के प्रधानमंत्री थे शामिल

लगभग एक महीने पहले, परमजीत ने न्यूयॉर्क में संयुक्त राष्ट्र महासभा के मंच पर भारतीय युवा का प्रतिनिधित्व किया। इस ऐतिहासिक मंच पर उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, विदेश मंत्री डॉ. एस. जयशंकर, अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन, ऑस्ट्रेलियाई प्रधानमंत्री एंथनी अल्बनीस और इटली की प्रधानमंत्री जॉर्जिया मेलोनी सहित विश्व के दिग्गज नेताओं के साथ विचार साझा किए। इस UN Summit of the Future शिखर सम्मेलन ने परमजीत को विश्व के नीति-निर्माण के उच्चतम स्तर पर भारतीय युवा नेतृत्व की आवाज बुलंद करने का अवसर दिया। इस दौरान उन्होंने भारत की ओर से युवा नेतृत्व के महत्व और भविष्य के विकास में उनकी भूमिका पर अपनी प्रतिबद्धता को रेखांकित किया।

इस सत्र में प्रधानमंत्री मोदी ने भारत की वैश्विक शांति और सतत विकास की प्रतिबद्धता पर प्रकाश डाला। उन्होंने वैश्विक संस्थानों में सुधार की आवश्यकता का भी जिक्र किया, विशेषकर संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के संदर्भ में। इसी शिखर सम्मेलन के दौरान, परमजीत को रिलायंस फाउंडेशन द्वारा आयोजित एक विशेष बैठक में आमंत्रित किया गया। यहाँ, उन्होंने रिलायंस फाउंडेशन की प्रमुख ईशा अंबानी का धन्यवाद किया और युवा नेतृत्व को प्रेरित करने में उनकी भूमिका की सराहना की। इस बैठक ने भारत के “वॉयस ऑफ द ग्लोबल साउथ” पहल में महत्वपूर्ण योगदान को उजागर किया।

भारतीय महावाणिज्य दूतावास द्वारा किया गया सम्मानित 

परमजीत को न्यूयॉर्क में भारतीय महावाणिज्य दूतावास द्वारा भी सम्मानित किया गया, जो उनके युवा नेतृत्व और वैश्विक मंच पर भारत के प्रतिनिधित्व की सराहना करता है। इसराना, पानीपत जैसे साधारण पृष्ठभूमि से उठकर, उनकी इस यात्रा ने भारतीय युवाओं के लिए प्रेरणा का स्त्रोत स्थापित किया है। उनके परदादा की शिक्षा के प्रति दूरदर्शिता और उनके परिवार की दी हुई शिक्षाओं ने उन्हें इस वैश्विक मंच पर पहुँचने के लिए मार्गदर्शन प्रदान किया, जिससे वह आज अपने देश का नाम ऊंचा कर रहे हैं।

UN Summit of the Future का यह सत्र परमजीत की नेतृत्व यात्रा में एक निर्णायक मोड़ साबित हुआ। इस मंच पर उन्होंने वैश्विक शासन और नीति-निर्माण में युवा नेतृत्व के भविष्य को आकार देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई, जो न केवल ग्रामीण भारत से आने वाले युवा नेताओं के लिए एक नया मानदंड स्थापित करता है बल्कि यह भी सिद्ध करता है कि भविष्य उन्हीं के हाथों में है, जो इसे आकार देने का साहस रखते हैं।

Related Articles

Back to top button