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महिला पर सरपंच ने कह दी ऐसी बात, अब पुलिस ने कर दी ये कार्रवाई

शहर के गांव नूरनखेडा में मनरेगा योजना के तहत काम कर रही महिलाओं के साथ सरपंच की ओर से जातिसूचक शब्दों का प्रयोग करने और उनके चरित्र पर आरोप लगाने का मामला सामने आया है। पीड़ित महिलाओं ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है जिस के बाद पॉलिसी ने महिला सरपंच के खिलाफ मामला दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी।

ये है मामला

जानकारी के अनुसार गांव नुरणखेड़ा में 18 जनवरी को मनरेगा के तहत तालाबों की सफाई का काम चल रहा था। इस दौरान गांव नूरण खेड़ा की सरपंच ऊषा देवी मौके पर पहुंची और मजदूर महिलाओं के साथ गाली-गलौच करने लगी। आरोप है कि उन्होंने महिलाओं को जातिसूचक शब्दों से अपमानित किया और उनके चरित्र पर भी सवाल उठाए, जिस के बाद गांव की महिलाओं की एक पंचायत एकत्रित होकर गोहाना के एसडीएम और डीसीपी को लिखित रूप में शिकायत देकर गई थी। ग्रामीण महिलाओं ने अपने साथ हुए जातीय भेदभाव, जाति सूचक शब्दों के खिलाफ दबंग लोगों के खिलाफ एक कार्रवाई की मांग उठाई थी पीड़ित महिलाओं की शिकायत पर पुलिस ने एससी/एसटी एक्ट के तहत मामला दर्ज कर लिया है। पुलिस मामले की जांच कर रही है। 

आरोपी सरपंच पर हो सख्त कार्रवाईः महिला 

पीड़ित महिलाओं और ग्रामीणों ने मांग की है कि आरोपी सरपंच के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए ताकि भविष्य में इस तरह की घटनाएं न हो सकें। एसडीएम कार्यालय में पहुंचने के दौरान महिलाओं ने कहा कि गांव में वे डर के माहौल में जी रही है। लंबे समय बाद उन्हें परिवार चलाने के लिए मनरेगा का काम मिला था। लेकिन सरपंच की मनमानी, गाली गलौज और जातिसूचक शब्दों के चलते मनरेगा का काम रुकवा दिया गया।

महिला सरपंच के खिलाफ मामला दर्ज

इस मामले पर गोहाना के एसीपी ऋषिकांत ने बताया कि मिंटू नाम की महिला ने शिकायत दी थी। गांव की डिग्गी में सफाई का काम कर रहे थे। गांव की सरपंच 18 जनवरी को वहां पर पहुंची और उन्हें जाति सूचक शब्दों का प्रयोग किया गया है। इस मामले में बरोदा थाने में महिला सरपंच के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। इस मामले की जांच की जा रही है। 

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