चंडीगढ़: नवरात्र के पावन अवसर पर चंडीगढ़ के सेक्टर-47 स्थित कालीबाड़ी मंदिर में रामकृष्ण मिशन के पश्चिम बंगाल के बेलूर मठ की भव्य झलक देखने को मिल रही है. मंदिर परिसर में हू-ब-हू बेलूर मठ की तरह 50 फीट ऊंचा पंडाल सजाया गया है, जो मां दुर्गा के शाकुंभरी देवी स्वरूप की पूजा-अर्चना के लिए तैयार किया गया है. यह भव्य पंडाल श्रद्धालुओं के बीच मुख्य आकर्षण का केंद्र बना हुआ है. इसके साथ ही सेक्टर-35 के बंगा भवन, मौलीजागरां के विकार नगर और सेक्टर-24 में भी पंडाल स्थापित किए गए हैं, लेकिन बेलूर मठ की भव्यता से सजा यह पंडाल भक्तों अपनी ओर आकर्षित कर रहा है.
पंडाल बना आकर्षण का केन्द्र: बेलूर मठ के इस आकर्षक पंडाल की ऊंचाई 50 फीट है. इसे पर्यावरण के अनुकूल सामग्री से तैयार किया गया है. इसे थर्माकोल से नहीं बल्कि प्लाई बोर्ड से तैयार किया गया है. इसकी भव्यता को देखकर श्रद्धालु उत्साहित नजर आ रहे हैं. पंडाल के सामने सेल्फी लेने वालों की इस समय भीड़ लगी है. कालीबाड़ी मंदिर परिसर में स्थित इस पंडाल की बनावट और बाहरी रूप पूरी तरह से बेलूर मठ के वास्तुशिल्प के अनुरूप है, जो श्रद्धालुओं को आध्यात्मिक अनुभव के साथ-साथ सांस्कृतिक गौरव का एहसास भी करवा रहा है.
शाकुंभरी देवी की प्रतिमा बनी आस्था का केंद्र: चंडीगढ़ सेक्टर-47 स्थित कालीबाड़ी मंदिर परिसर में बेलूर मठ पंडाल के आगे मां दुर्गा के स्वरूप शाकुंभरी देवी की 10 फीट ऊंची भव्य प्रतिमा स्थापित की गई है. इस प्रतिमा को नीले और हरे रंग से सजाया गया है, जो सुख और समृद्धि का प्रतीक माने जाते हैं. श्रद्धालु इस प्रतिमा के दर्शन के लिए उमड़ रहे हैं और विशेष पूजा-अर्चना की जा रही है. शाकुंभरी देवी को फल, सब्जी और अन्न की दात्री देवी के रूप में पूजा जाता है.
शाकुंभरी देवी की पौराणिक कथा: पुराणों के अनुसार एक समय दैत्य दुर्गम ने चारों वेद चुरा लिए और पृथ्वी पर वर्षा बंद हो गई, जिससे भयानक अकाल पड़ा. इस संकट से उबारने के लिए मां दुर्गा ने शाकुंभरी का रूप धारण कर दैत्य का वध किया. इसके बाद धरती पर वर्षा हुई और फसलें लहराने लगीं. इस वर्ष भी जब बारिश से कई क्षेत्रों में बाढ़ और फसलों को नुकसान हुआ है, तब आयोजकों ने सृष्टि की शांति और समृद्धि की कामना से मां शाकुंभरी की विशेष पूजा का आयोजन किया है. इस बारे में मूर्ति निर्माता गणेश ने बताया कि, “इस मूर्ति को वर्तमान परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए बनाया गया है.”
मौलीजागरां में भी भव्य दुर्गा प्रतिमा स्थापित: चंडीगढ़ के मौलीजागरां के विकार नगर क्षेत्र में भी दुर्गा पूजा धूमधाम से मनाई जा रही है. यहां 9 फीट ऊंची मां दुर्गा की प्रतिमा स्थापित की गई है. इस बारे में आयोजक बिनोय कुमार ने बताया कि, “इस प्रतिमा से श्रद्धालुओं को विकास, आत्मबल और सकारात्मक सोच की प्रेरणा मिल रही है. यहां भी पूजा-अर्चना के साथ सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन किया जा रहा है.”
मंदिर परिसर में श्रद्धालुओं की भीड़: कालीबाड़ी मंदिर परिसर और मुख्य सड़क के दोनों ओर पूजा से संबंधित वस्तुओं के साथ-साथ खिलौने, हवन सामग्री, बच्चों के लिए गुब्बारे और खान-पान के स्टॉल लगाए गए हैं. रंग-बिरंगी रोशनी से सजा मंदिर परिसर रात में और भी भव्य प्रतीत हो रहा है. मां के दरबार तक श्रद्धालुओं की लंबी कतारें देखी जा रही हैं, जिससे पूरा वातावरण भक्ति और उल्लास से भर गया है.