हरियाणा

भिवानी में गौशाला ट्रस्ट ने हैल्थ लि.को 12.34 करोड़ में बेची 4 कनाल 5 मरले जमीन

दान दी गई जमीन बेचने पर तहसीलदार कार्यालय ने किया इंतकाल रद्द,पहले भी गौशाला ट्रस्ट ने करोड़ों की जमीन बेच दी थी बाजार से कम भाव में

भिवानी, (ब्यूरो): भिवानी में श्री गौशाला ट्रस्ट द्वारा करोड़ों रुपये की कीमत की जमीन एक हैल्थ कंपनी को बेचने का मामला इन दिनों चर्चा में है। जमीन बेचने के पीछे का कारण श्री गौशाला ट्रस्ट ने ट्रस्ट द्वारा भविष्य में करवाए जाने वाले विकास कार्यों व अन्य जरूरत को बताया है। ट्रस्ट द्वारा भविष्य में क्या विकास कार्य करवाएं जाएंगे और क्या जरूरत है? यह ट्रस्ट ने सार्वजनिक नहीं किया है। पटवारी ने जमीन का इंतकाल क्रेता के नाम दर्ज कर दिया लेकिन जब फाईल तहसीलदार के पास पहुंची तो उन्होंने इंतकाल को रद्द कर दिया। शहर में चर्चा है कि दानदाताओं द्वारा दान की गई जमीन को श्री गौशाला ट्रस्ट द्वारा इस प्रकार से बेचना गलत है। जानकारी के अनुसार श्री गौशाला ट्रस्ट के सचिव हनुमान दास पुत्र पनमेश्वरी दास निवासी नई अनाज मंडी, भिवानी ने दिनांक 19 जून 2025 को श्री गौशाला ट्रस्ट की रोहतक रोड केन्द्रीय स्कूल के पास स्थित अराजी 4 कनाल 5 मरले जमीन को 12 करोड़ 34 लाख 8 हजार रुपये में विवेक अभी हैल्थ केयर प्राईवेट लि. के निदेशक सत्यवीर शर्मा पुत्र बोबदराम निवासी मकान नम्बर 9, विकास नगर, भिवानी को बेच दिया। इस जमीन को खरीदने के लिए दी गई राशि का भुगतान चैक के माध्यम से हुआ है। सब रजिस्ट्रार, कार्यालय भिवानी को स्टाम्प डयूटी के रूप में 86 लाख 38 हजार 600 रुपये की स्टॉप डयूटी का भुगतान किया गया है। इसके बाद इस रजिस्ट्री के आधार पर पटवारी ने जमीन का इंतकाल भी विवेक अभी हैल्थ केयर प्राईवेट लि. के निदेशक सत्यवीर शर्मा पुत्र बोबदराम निवासी मकान नम्बर 9, विकास नगर, भिवानी के नाम कर दिया गया। लेकिन जब यह फाईल तहसीलदार के पास पहुंची तो उन्होंने इंतकाल रद्द कर दिया। जमीन बिक्री का कारण श्री गौशाला ट्रस्ट ने विकास कार्यों व अन्य जरूरत बताया है। शहर के लोगों में चर्चा है किश्री गौशाला ट्रस्ट के पास लगभग 500 एकड़ जमीन है जोकि विभिन्न दानदाताओं द्वारा इसकी स्थापना के समय दी गई थी। शहर में बड़ी श्री गौशाला मार्केट है,जिससे करोड़ों रुपये किराये के रूप में ट्रस्ट को प्रतिमाह आ रहा है। इसके अलावा श्री गौशाला ट्रस्ट द्वारा संचालित गौशाला में गायों के दूध की बिक्री से भी हर माह अच्छी खासी राशि आ रही है। जिससे श्री गौशाला ट्रस्ट आर्थिक रूप से मजबूत है। ऐसे में श्री गौशाला ट्रस्ट द्वारा जमीन की बिक्री करना कहीं न कहीं श्री गौशाला ट्रस्ट के पदाधिकारियों की कार्यशैली पर संदेह पैदा कर रहा है। बताया जा रहा है कि करीबन 11 साल पहले भी श्री गौशाला ट्रस्ट द्वारा करोड़ों रुपये कीमत की जमीन बेची गई थी जिसकी रजिस्ट्री बाजार भाव से बहुत ही कम दिखाई गई थी। जिसकी शिकायत की जांच एक ट्रेनी आईएएस निशांत यादव द्वारा की गई थी। जांच अधिकारी ने जांच पूरी कर इसकी फाइल कार्रवाई के लिए आगे अधिकारियों को भेज दी थी लेकिन आज तक उस पर कोई कार्रवाई नहीं हुई है और फाईल धूल फांक रही है।
क्या कहते हैं श्री गौशाला ट्रस्ट के सचिव
इस बारे में जब श्री गौशाला ट्रस्ट के सचिव हनुमान दास से बातचीत की गई तो उन्होंने बताया कि जमीन बेची गई है। यह ट्रस्ट की जमीन है। इस बारे में ट्रस्ट के प्रधान मोहन लाल बुवानीवाला से बात करें। मैं अस्पताल में हूं। मेरा पौत्र बीमार है। जब श्री गौशाला ट्रस्ट के प्रधान मोहन लाल बुवानीवाला से संपर्क किया गया तो उन्होंने फोन नहीं उठाया।
इस बारे में जब विधायक घनश्यामदास सर्राफ से प्रतिक्रिया पूछी तो उन्होंने बताया कि जमीन की रजिस्ट्री एक नंबर में करवाई गई है। चैक से पेमेंट का भुगतान हुआ है। जब उनको बताया गया कि जमीन की रजिस्ट्री के बाद इंतकाल को सब रजिस्ट्रार कार्यालय, भिवानी द्वारा रद्द कर दिया गया है तो उन्होंने बताया कि अगर ऐसा हुआ है तो जमीन की रजिस्ट्री भी रद्द हो जाएगी।

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