पार्षदों के लिए 50 लाख नहीं?’विकास का लट्टू’ अब अम्बाला छावनी में कहीं भी नहीं जलेगा…चित्रा सरवारा ने उठाए तीखे सवाल

अंबाला: पार्षदो के लिए फंड नहीं है मतलब ‘विकास का लट्टू’ अब अम्बाला छावनी में कहीं भी नहीं जलेगा? परिषद के द्वारा प्रकाशित एजेंडा में बाढ़ और निकासी का नाम भी नहीं। पार्षदो से कामों की लिस्ट मांग कर बजट से मुकर जाना जनता और प्रतिनिधियों से घिनौना मज़ाक।
सालों से अटके प्रोजेक्ट्स के लिए करोड़ो के दोबारा टेंडर हो सकते हैं लेकिन पार्षदों के लिए 50 लाख नहीं? ये तीखे आरोप कांग्रेस नेत्री चित्रा सरवारा ने हरियाणा सरकार पर लगाए हैं। चित्रा ने फंड न मिलने को लेकर सरकार को घेरा है। चित्रा ने कहा कि सरकरा क्यों अटके हुए प्रोजेक्टस पर ध्या न नहीं दे रही।
गौर रहे कि चित्रा सरवारा को 13 जून 2013 को अंबाला नगर निगम, हरियाणा के नगर निगम के रूप में चुना गया था। अक्टूबर 2019 में, उन्होंने अंबाला कैंट, हरियाणा से एक स्वतंत्र उम्मीदवार के रूप में विधानसभा चुनाव लड़ा और 44.5 हजार से अधिक वोट पाकर दूसरे स्थान पर रहीं।
मार्च 2015 में, वह रोहतक-करनाल डिवीजन (माइनस भिवानी और कैथल) के पर्यवेक्षकों और सह-पर्यवेक्षकों के लिए राज्य समन्वयक के रूप में हरियाणा प्रदेश महिला कांग्रेस समिति में शामिल हुईं। 2016 में उन्हें हरियाणा प्रदेश महिला कांग्रेस समिति की वरिष्ठ उपाध्यक्ष नियुक्त किया गया था।