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मंत्रों की शक्तियों से ठीक होंगे मरीज! क्या है ‘मंत्र चिकित्सा’ जिससे काशी में हो रहा मरीजों का इलाज

काशी तंत्र और मंत्र दोनों ही की जन्मस्थली रही है. शिव की इस नगरी में मंत्रों को अभिमंत्रित भी किया गया है और साधना के जरिए तंत्र की सिद्धि भी की गई है. अब शिव की इस नगरी में मंत्रों के जरिए ही इलाज भी होगा. दरअसल, काशी में मंत्रों के जरिए स्वास्थ्य लाभ की एक नई मुहीम शुरू हुई है. मंत्र विशेषज्ञ अमृतेश कुमार भास्कर ने ये मुहीम शुरू की है. इनका दावा है कि मंत्रों के जरिए मानसिक विकार सहित असाध्य रोग तक ठीक हो सकते हैं.

उन्होंने शिविर लगाकर इसकी शुरुआत की है. आधे घंटे के सेशन में विभिन्न बीमारियों से पीड़ित लोग इसमें शामिल हो रहे हैं. आधे घंटे के इस सेशन में रोगी को ध्यान की अवस्था में मंत्रों को सुनना है. इसके बाद रोगी को पांच मिनट तक मंत्र का जाप कराया जाता है. डेढ़ घंटे के सेशन में 45 मिनट योग भी कराया जाता है. सेशन प्रतिदिन सुबह और शाम को कराया जाता है. 21 दिनों का ये सेशन 15 जून को समाप्त होगा.

मंत्र विशेषज्ञ अमृतेश का है ये दावा

पिछले 15 सालों से मंत्रों के जरिए इलाज करने वाले मंत्र विशेषज्ञ अमृतेश का दावा है कि 3000 मंत्रों से वो हर तरह के रोगों का निदान कर सकते हैं. ये मंत्र वैदिक, पौराणिक, सुश्रुत संहिता और जैन दर्शन से लिए गए हैं. इनको उच्चारित करते हुए अन्य कई बातों का भी खयाल रखना पड़ता है. न्यूरो डिसऑर्डर और साइकोलॉजिकल प्रॉब्लम में ये मंत्र ज्यादा कारगर दिखे.

शिविर में हर्ट, किडनी और स्किन के ज्यादातर मरीज

शिविर में हर्ट, किडनी और स्किन से जुड़े ज्यादातर मरीज मिलें और संतुष्ट दिखें. ऑटिज्म से पीड़ित बच्चे और हड्डी और स्किन से जुड़े बुजुर्ग भी शिविर में शामिल हुए. शिविर में शामिल कर्नल संदीप शर्मा ने बताया कि अभी ये उनका दूसरा दिन ही है, लेकिन उनको काफी रिलैक्स मिला. लगा कि ये कुछ अलग है. बलिया के राम कृपाल सिंह छह महीने से इस मुहीम से जुड़े हैं. वो कहते हैं कि हमारा पूरा परिवार इससे काफी लाभान्वित हुआ है और अंदर से मजबूती महसूस हो रही है.

बीएचयु की प्रोफेसर अपर्णा अपने साथ सात साल के बेटे को भी शिविर में ला रही हैं. अपर्णा का कहना है कि आधे घंटे के इस सेशन के बाद शरीर रिचार्ज हो जाता है.सिर्फ दो-तीन सेशन में ही बैक बोन और शरीर के बाकी हिस्सों में दर्द जैसी समस्या काफी हद तक कम हो गई है.

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