
भिवानी, ( ब्यूरो): एक ई-रिक्शा मालिक को चोर पकड़वाना महंगा पड़ा। ई-रिक्शा मालिक पुलिस के कहने पर चोर को पकडक़र चौकी में ले गया तो पुलिस ने ई रिक्शा मालिक को भी नहीं बख्शा। उसके साथ भी मारपीट की। बाद में पीडि़त की मार के दर्द से परेशान होकर सामान्य अस्पताल में दाखिल हो गया। यहां पर भी सादी कपड़ों में एक व्यक्ति ने आकर उसको धमकाया। वहीं सामान्य अस्पताल पहुंचकर हरियाणा जागृति मोर्चा की लीगल टीम ने पीडि़त का हालचाल जाना और उसकी सारी बातें सुनी। पीडि़त बिजेंद्र वाल्मीकि बवानीखेड़ा ने बताया कि उसके पास एक ई रिक्शा है और उसने यह ई रिक्शा एक व्यक्ति को किराए पर दी हुई है। जिस व्यक्ति को ई रिक्शा किराए पर दी हुई है। उस युवक का नाम किसी चोरी के केस में आ गया। पुलिस उसकी ई रिक्शा को थाने में ले आई। कागजातों के आधार पर पुलिस ने उसके पास फोन किया और थाने में बुला लिया। मोर्चा के सदस्यों को पीडि़त ने बताया कि वह थाने में पहुंचा तो उन्होंने ई रिक्शा किसको दी उस बारे में जानकारी मांगी और उसका नाम भी बता दिया। पुलिस ने उसको उस व्यक्ति को लाने के लिए कहा,जिसने उसकी ई रिक्शा किराए पर ली हुई थी। वह उस युवक को थाने में ले गया और पुलिस के सुपुर्द कर दिया। पुलिस ने उस युवक की बजाए उसके साथ अच्छी खासी मारपीट कर दी। पुलिस कर्मचारियों ने कहा कि इसके दो अन्य साथियों को भी लेकर आए,लेकिन वह उन लोगों को जानता ही नहीं। वह पुलिस की मार से परेशान होकर सामान्य अस्पताल में दाखिल हो गया। पीडि़त ने मोर्चा के सदस्यों के समक्ष बताया कि अस्पताल में भी उसी थाने से कर्मचारी (युवक) सादे कपड़ों में आया और उसको अस्पताल से जाने के लिए कहने लगा। साथ ही धमकाने लगा कि अगर नहीं गया तो तेरा सही ढंग से इलाज कर दूंगा। इस पर हरियाणा जागृति मोर्चा की लीगल सेल के सदस्यों ने पीडि़त की हर संभव मदद करने का भरोसा दिलाया और कहा कि वे पीडि़त को न्याय दिलाने के लिए सबसे पहले एसपी का दरबार में पहुंचेंगे। अगर वहां पर भी न्याय नहीं मिला तो आला अधिकारियों से फरियाद लगाएंगे। प्रतिनिधि मंडल में मोर्चा के अध्यक्ष राजेश सिंधू, लीगल सेल अध्यक्ष अजय भुक्कल, प्रभारी राजेंद्र सूई, जिला अध्यक्ष सुरेश विधवान, हलका अध्यक्ष संदीप बामला शामिल थे।