आतिशी होंगी दिल्ली की मुख्यमंत्री, नई कैबिनेट को लेकर आम आदमी पार्टी का ये है प्लान
आम आदमी पार्टी (आप) की नेता आतिशी दिल्ली की नई मुख्यमंत्री होंगी. मंगलवार को आप विधायक दल की बैठक हुई, जिसमें उनके नाम पर मुहर लगी. आप के संयोजक अरविंद केजरीवाल ने उनके नाम का प्रस्ताव रखा. सभी विधायक ने खड़े होकर प्रस्ताव को स्वीकार किया. दिल्ली सरकार में मंत्री और आप नेता गोपाल राय ने आतिशी के नाम का औपचारिक ऐलान किया. गोपाल राय ने साथ ही नई कैबिनेट को लेकर आप का प्लान भी जनता के सामने रखा.
गोपाल राय ने कहा, आज आम आदमी पार्टी के विधायक दल की बैठक बुलाई गई थी. बैठक में दिल्ली के अगले चुनाव तक मुख्यमंत्री की जिम्मेदारी सर्वसम्मति से आतिशी को दी गई. उन्होंने कहा कि विषम परिस्थिति में आतिशी कोये जिम्मेदारी सौंपी गई. केंद्र सरकार, बीजेपी और प्रधानमंत्री ने षड्यंत्र कर एजेंसियों का इस्तेमाल कर दिल्ली की सरकार को तोड़ने का अभियान चलाया, लेकिन आम आदमी पार्टी ने कामों को जारी रखा.
गोपाल राय ने बीजेपी पर निशाना साधते हुए कहा कि इन्होंने कोशिश की कि अरविंद केजरीवाल जेल में इस्तीफा दे दें, लेकिन केजरीवाल ने फैसला लिया कि जनता के काम नहीं रुकने चाहिए. जेल में इस्तीफा नहीं देंगे. जेल से बाहर आकर इस्तीफा देंगे. अरविंद केजरीवाल की इमानदारी पर बीजेपी ने कीचड़ उछाला इसलिए अरविंद केजरीवाल ने ये फैसला किया कि देश की सुप्रीम अदालत ने उन्हें बाहर कर दिया लेकिन जनता की अदालत में जाएंगे और जनता जब चुनकर भेजेगी तब कुर्सी पर बैठेंगे.
नई कैबिनेट को लेकर आप का प्लान
गोपाल राय ने कहा कि हम चाहते हैं कि अक्टूबर तक चुनाव हो. आतिशी को दो जिम्मेदारी दी गई है. उन्हें दिल्ली के दो करोड़ लोगों के साथ मिलकर कामों को रुकने नहीं देना है. दूसरी जिम्मेदारी बीजेपी के बारे षड्यंत्रों को कामयाब नहीं होने देना है. जनता की सुरक्षा करनी है.
आप नेता ने कहा कि शाम 4.30 बजे केजरीवाल सीएम पद से इस्तीफा देंगे. उसके बाद विधानमंडल दल नई सरकार का दावा पेश करेंगे. उन्होंने कहा कि दो खाली मंत्री पदों पर पार्टी बाद में विचार करेगी.
केजरीवाल ने किया था इस्तीफा देने का ऐलान
आबकारी नीति मामले में जमानत पर तिहाड़ जेल से रिहा होने के बाद आप के राष्ट्रीय संयोजक केजरीवाल ने रविवार को कहा था कि वह 48 घंटे के भीतर इस्तीफा दे देंगे और दिल्ली में जल्द चुनाव कराने की मांग करेंगे. उन्होंने कहा था कि जब तक लोग उन्हें ईमानदारी का प्रमाणपत्र नहीं दे देते, तब तक वह मुख्यमंत्री की कुर्सी पर नहीं बैठेंगे.