हरियाणा

व्यक्ति का वजन कम नहीं हुआ तो अदालत ने उत्पाद कंपनी पर ठोंका जुर्माना

हर्बल लाइफ कंपनी के एजेंट ने उसे कंपनी के प्रोडक्ट के बारे में बताया कि इस प्रोडक्ट से उसके लडक़े का वजन कम हो जाएगा। इस प्रोडक्ट की कीमत 23 हजार 881 रुपये होगी

न्यूज़ डेस्क हरियाणा । फतेहाबाद । हि.स. । उपभोक्ता अदालत ने एक मामले में सुनवाई करते हुए हर्बल लाइफ कम्पनी पर जुर्माना लगाया है। शिकायतकर्ता ने अपने लडक़े का वजन कम करने के लिए 23881 रुपये में प्रोडक्ट खरीदा था। इसके बावजूद जब वजन कम नहीं हुआ तो उसने पैसे वापस मांगे। जब कम्पनी ने पैसे नहीं लौटाए तो पीडि़त ने उपभोक्ता अदालत की शरण ली थी।

एडवोकेट राजेश गांधी के मार्फत ढ़ाणी माजरा निवासी मांगेराम ने उपभोक्ता अदालत में एक शिकायत दर्ज करवाई थी। शिकायत में मांगेराम ने कहा कि उसने अपने लडक़े का वजन कम करने को लेकर एक इश्तिहार पर दिए गए फोन नंबर पर संपर्क किया था। इस दौरान फोन अटेंड करने वाले हर्बल लाइफ कंपनी के एजेंट ने उसे कंपनी के प्रोडक्ट के बारे में बताया कि इस प्रोडक्ट से उसके लडक़े का वजन कम हो जाएगा। इस प्रोडक्ट की कीमत 23 हजार 881 रुपये होगी। इस पर मांगेराम ने हर्बल लाइफ कंपनी का वो प्रोडक्ट अपने लडक़े के लिए ले लिया। उस प्रोडक्ट का सेवन करने के बाद भी मांगेराम के लडक़े का वजन कम नहीं हुआ बल्कि उसके नाक से खून बहना शुरु हो गया।

शिकायत में बताया गया था कि इसके बाद जब हर्बल लाइफ कंपनी के उस एजेंट से मांगेराम ने संपर्क किया और रुपये वापसी मांगे तो एजेंट द्वारा ना तो रुपये वापिस किए गए तथा ना ही कोई संतोषजनक जवाब दिया गया। इस पर मांगेराम ने एडवोकेट राजेश गांधी के मार्फत उपभोक्ता अदालत की शरण लेते हुए अपनी शिकायत दी। उपभोक्ता अदालत के अध्यक्ष राजबीर सिंह ने दोनों पक्षों की सुनवाई के बाद हर्बल लाइफ कंपनी को दोषी मानते हुए मांगेराम से प्रोडक्ट की ली गई कीमत 23 हजार 881 रुपये की राशि 6 प्रतिशत ब्याज के साथ 45 दिन में वापिस लौटाने का आदेश दिया।

इसके अलावा उपभोक्ता अदालत ने 11 हजार रुपये मानसिक व शारीरिक परेशानी के ऐवज में देने का आदेश दिया। अगर यह राशि 45 दिनों में अदा नहीं की गई तो समयावधि के बाद 9 प्रतिशत ब्याज देने का आदेश भी दिया। इसके अलावा कोर्ट ने विशेष टिप्प्णी करते हुए कहा कि इस तरह के प्रोडक्ट से बच्चों, गर्भवती महिलाओं और बच्चों को दूध पिलाने वाली माताओं से दूर रहना चाहिए। अदालत ने कहा कि इस तरह के प्रोडक्ट बेचने वाले कोई मंजूरशुदा प्रेक्टिशनर नहीं है। अदालत ने कहा कि लोगों को भी इस तरह का भ्रामक प्रचार करके अपना प्रोडक्ट बेचने वाली कंपनियों से बचना चाहिए।

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